दरभंगा के बारे में जानकारी

परिचय:
दरभंगा बिहार राज्य का पांचवां सबसे बड़ा शहर है, जिसे ‘बिहार की सांस्कृतिक राजधानी’ और ‘मिथिला का हृदय’ कहा जाता है। यह दरभंगा ज़िले और डिवीजन के प्रशासनिक मुख्यालय के रूप में कार्य करता है। इस शहर का नाम ‘द्वार बंगा’ या ‘दर-ए-बंगा’ से माना जाता है, जिसका अर्थ ‘बंगाल का द्वार’ है।

Sitla Mata Mandir

शीतला माता मंदिर, दरभंगा

Darbhanga Tower

टावर चौक दरभंगा

इतिहास:
इतिहासिक रूप से, दरभंगा खंडवाला जमींदार वंश का केंद्र था, जो मुगलों और ब्रिटिश काल में प्रचलित था। यह शहर कामेश्वरा सिंह दरभंगा संस्कृत विश्वविद्यालय और लालित नारायण मिथिला विश्वविद्यालय का घर है, जो आनंदबाग पैलेस के मैदान में स्थित हैं। दरभंगा ध्रुपद संगीत की समृद्ध धरोहर के लिए भी जाना जाता है।

भूगोल:
दरभंगा उत्तरी बिहार में स्थित है, और यह मधुबनी, समस्तीपुर, सहरसा, सीतामढ़ी, और मुजफ्फरपुर जिलों से घिरा हुआ है। यह शहर एक व्यापक जलोढ़ मैदान पर स्थित है और यहाँ की जलवायु आर्द्र उपोष्णकटिबंधीय है। मानसून के दौरान यहाँ पर्याप्त वर्षा होती है।

जनसांख्यिकी:
2011 की जनगणना के अनुसार, दरभंगा की जनसंख्या 296,039 थी, जो बिहार में पाँचवाँ सबसे बड़ा शहरी क्षेत्र है। यहाँ की जनसंख्या में अधिकांश हिंदू हैं, जबकि एक महत्वपूर्ण मुस्लिम अल्पसंख्यक भी है।

संस्कृति और अर्थव्यवस्था:
दरभंगा मैथिली, संस्कृत, उर्दू, और हिंदी साहित्य में एक मजबूत सांस्कृतिक पृष्ठभूमि पर गर्व करता है। यह कृषि उत्पादों, विशेष रूप से आम और मछली के लिए एक महत्वपूर्ण व्यापारिक केंद्र है, और यहाँ हल्की विनिर्माण उद्योग भी है।

परिवहन और अवसंरचना:
यह शहर रेल द्वारा अच्छी तरह से जुड़ा हुआ है, जिसमें दरभंगा जंक्शन प्रमुख रेलवे स्टेशन के रूप में कार्य करता है। दरभंगा हवाई अड्डा हवाई कनेक्टिविटी प्रदान करता है, और कई राष्ट्रीय राजमार्ग इस क्षेत्र से गुजरते हैं।

शिक्षा और प्रमुख स्थल:
दरभंगा में कई शैक्षिक संस्थान हैं, जिनमें AIIMS (निर्माणाधीन) और दरभंगा मेडिकल कॉलेज शामिल हैं। प्रमुख स्थलों में दरभंगा किला, श्यामा माई मंदिर, और दरभंगा तारामंडल शामिल हैं।

निष्कर्ष:
कुल मिलाकर, दरभंगा एक ऐसा शहर है जो ऐतिहासिक महत्व और सांस्कृतिक समृद्धि का मिश्रण करता है, और बिहार में शिक्षा, व्यापार और प्रशासन का एक महत्वपूर्ण केंद्र है।

Scroll to Top